पटना। बेउर थानांतर्गत दशरथा स्थित आइओसी के गेट नंबर एक के नजदीक पारस सिंह के मकान में गुरुवार की देर रात घरेलू गैस सिलेंडर फटने से एक ही परिवार के सात लोग झुलस गए। इनमें तीन की हालत गंभीर बनी है, जिन्हें कुम्हरार स्थित बर्न हास्पिटल भेजा गया है। वहीं, दो लोगों का उपचार नेहरू पथ स्थित एक निजी अस्पताल में चल रहा है, जबकि दो अन्य लोगों को मामूली जख्म थे। उन्हें उपचार के बाद अस्पताल से मुक्त कर दिया गया। हादसे के बाद बेउर समेत अन्य थानों की पुलिस इलाके में कैंप कर रही है। वर्तमान में कंचन देवी, सीमा कुमारी, सोनू कुमार, पिंटू महतो और रंजन कुमार उपचाराधीन हैं। डीआइजी सह एसएसपी राजीव मिश्रा ने बताया कि जख्मी लाेगों का उपचार चल रहा है। हालात नियंत्रण में हैं।
बताया जाता है कि पारस सिंह के निचली मंजिल में एक परिवार किराये पर रहता है। गुरुवार की रात करीब नौ बजे महिलाएं रात्रि भोजन तैयार कर रही थीं। गैस रिसाव होने के कारण आग ने विकराल रूप ले लिया। परिवार के लोग आग बुझाने आगे आए, तभी सिलेंडर तेज आवाज के साथ फट गया। धमाके की आवाज सुन कर लोग दौड़े तो देखा कि दो लोगों में आग से लिपटे थे। बाकी लोग बेसुध पड़े थे। इधर, धमाके से मोहल्ले में अफरातफरी मच गई थी। पुलिस का गश्ती दल भी पहुंच गया। एंबुलेंस बुला कर घायलों को अस्पताल भेजा गया था।
प्रत्यक्षदर्शी बताते हैं कि धमाका इतना जोरदार था, जिससे पूरा इलाका दहल गया। लोग घरों से निकल कर सड़क पर आ गए थे। स्थानीय लोग आग पर काबू पाने में स्वयं जुट गए, ताकि आग उनके घरों तक न पहुंच जाए। मौके पर लोगों की भीड़ जमा हो गई थी। जहां हादसा हुआ था, वह गली सकरी है। बेउर थाने की सूचना पर सचिवालय, लोदीपुर और फुलवारीशरीफ से दमकल के आठ वाहन गली के मोड़ पर पहुंच गए, लेकिन उन्हें घटनास्थल तक जाने के लिए काफी मशक्कत करनी पड़ी।
अग्निशमन वाहन मोड़ पर खड़े कर दिए गए, फिर पाइप को घटनास्थल तक पहुंचाया गया। तब तक आग धधक रही थी। आग पर काबू पाने के बाद दो घंटे तक अग्निशमन जवानों ने कूलिंग का कार्य किया। इसके बाद इलाके के लोगों ने राहत महसूस की। हादसे की खबर पाकर फुलवारीशरीफ एएसपी विक्रम सिहाग भी दलबल के साथ पहुंच गए थे।