सासाराम। सासाराम कोर्ट ने रोहतास डीएम धर्मेंद्र कुमार के वेतन निकासी पर अगले आदेश तक के लिए रोक लगा दिया है। बता दें कि हर्जाना राशि जमा नहीं किए जाने पर नाराजगी जताते हुए यहां की अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश की अदालत ने डीएम धर्मेंद्र कुमार के वेतन निकासी पर अगले आदेश तक रोक लगा दी है। यह कार्रवाई एडीजे प्रथम मनोज कुमार ने अभियुक्त एवं गवाहों की उपस्थिति के लिए दुष्कर्म एवं चोरी से जुड़े 33 वर्ष पुराने एक लंबित मामले में की है। मामले में सुनवाई करते हुए न्यायाधीश ने डीएम के वेतन निकासी पर अगले आदेश तक रोक लगाने को कहा है। बताते चले कि उक्त मामले में कोर्ट ने पूर्व में डीएम के वेतन से एक लाख रुपया स्थगन हर्जाना के रूप में कटौती करने का आदेश जिला कोषागार पदाधिकारी को दिया था। साथ ही ट्रेजरी ऑफिसर को निर्देश दिया था कि सात दिन के अंदर हर्जाने की राशि जिला विधिक सेवा प्राधिकार में जमा करने करें, लेकिन इस मामले में आज तक कोर्ट के आदेश का अनुपालन नहीं किया जा सका। इस तरह से कोर्ट जिलाधिकारी पर दूसरी बार कार्रवाई की है।
क्या है पूरा मामला
मामला 33 साल पुराना है, जिसकी प्राथमिकी 1990 में रोहतास जिला अंतर्गत कोचस थाना में हुई थी। मामले का ट्रायल 1993 से चल रहा है, जिसमें दो अभियुक्तों में से एक राजेंद्र डोम पिछले 33 वर्षों से न्यायालय में अनुपस्थित चल रहे हैं। साथ ही चिकित्सक सहित मामले के छह गवाहों में से मात्र सूचिका की गवाही हुई है। अन्य पांच गवाहों की गवाही के लिए मामला लंबित है, जिसकी उपस्थिति को लेकर कोर्ट ने कई बार आदेश संबंधित अधिकारियों को जारी किया है। इसके बावजूद अधिकारी अभियुक्त एवं गवाहों को न्यायालय में उपस्थित कराने में कोई दिलचस्पी ने दिखा रहे हैं।कोर्ट ने अभियोजन पक्ष को दोषी पाते हुए रोहतास डीएम के खिलाफ पूर्व में एक लाख रुपये स्थगन हर्जाना जमा करने का आदेश जारी किया था, जिसका पालन नहीं करने पर कोर्ट ने उनके वेतन निकासी पर रोक लगाने का आदेश जारी किया है।